
नई दिल्ली। भीमा-कोरेगांव मामला में पुलिस ने पांच लोगों को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार लोगों पर आरोप है कि इन्होंने भीमा-कोरेगांव में नफरत भरे भाषण और विवादास्पद पर्चे बांटे थे. साथ ही पुणे पुलिस ने दिल्ली पुलिस की मदद से दिल्ली से मानवाधिकार कार्यकर्ता रोना जैकब विल्सन को गिरफ्तार किया है. बताया जा रहा है कि दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने रोना को दो दिनों की ट्रांजिट रिमांड पर भेज दिया है. 8 जून को उन्हें पुणे की स्थानीय अदालत में पेश किया जाएगा. पुलिस ने रोना के घर की तलाशी के दौरान कई दस्तावेजों और उनके लैपटॉप को जब्त कर लिया था.
इसके अलावा नागपुर से एक्टिविस्ट वकील सुरेंद्र गाडलिंग को भी केस से जुड़े होने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. एक अन्य कार्यवाही में पुणे पुलिस ने भरतनगर में प्रोफेसर सोमा सेन के घर में तलाशी ली. सेन के पति तुषारकांत भट्टाचार्य को भी माओवादियों के साथ उनके कथित संबंधों के लिए कई बार गिरफ्तार किया गया था. इसी प्रकार पुणे पुलिस ने मुंबई, नागपुर और दिल्ली से कुल पांच लोगों को गिरफ्तार किया है.
जिग्नेश मेवानी भड़के
गुजरात के निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवानी ने पुलिस की गिरफ्तारी पर सवाल खड़ा करते हुए इन्हें अंबेडकवादी आंदोलन पर हमला बताया है. मेवानी ने ट्वीट कर लिखा, ” महाराष्ट्र पुलिस ने मुंबई में अंबेडकरवादी कार्यकर्ता और संपादक सुधीर धावले, नागपुर में वकील सुरेंद्र गाडलिंग और दिल्ली में रोना विल्सन को गिरफ्तार कर लिया है. तीनों पर यूएपीए के सख्त कानून के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है, जबकि भीमा कोरेगांव का अपराधी मनोहर भिड़े आजाद घूम रहा है.”
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