छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव को देखते हुए राजनीतिक दलों ने अपनी कमर कसनी शुरू कर दी है. मंगलवार को रायपुर में बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की प्रदेश स्तरीय पदाधिकारियों की बैठक न्यू राजेंद्र नगर स्थित गुरु घासीदास सांस्कृतिक भवन में हुई. प्रदेश प्रभारी अशोक सिद्धार्थ ने विधानसभा चुनाव को लेकर पार्टी कार्यकर्ताओं को बूथ स्तर पर तैयारी करने के निर्देश दिए.
उन्होंने कहा कि बसपा के बिना कोई सरकार नहीं बनेगी. चुनाव में कांग्रेस सहित अन्य दलों के साथ गठबंधन के सवाल पर प्रदेश अध्यक्ष ओम प्रकाश वाजपेयी ने कहा कि पार्टी सुप्रीमो मायावती इस पर फैसला लेंगी, बसपा कार्यकर्ता 90 सीटों को लेकर तैयार हैं.
बैठक में प्रदेश प्रभारी अशोक सिद्धार्थ राज्यसभा सांसद, एमएल भारती, भीम राजभर, अजय साहू, विधायक केशव चंद्रा, पूर्व विधायक दाउराम रत्नाकर, दुजराम बौद्ध, बसपा के पर्व विधायक कामदा जोल्हे, पूर्व विधायक लाल साय खूंटे, पूर्व विधायक रामेश्वर खूंटे, सदानंद मार्कण्डेय, एमपी मधुकर, जिला अध्यक्ष, जोन प्रभारी, विधानसभा प्रभारी, संभावित टिकट के दावेदार भी पहुंचे हैं.
अशोक ने कहा कि पार्टी के कार्यकर्ता ईमानदारी व निष्ठा से कार्य करेंगे. 10 से 15 विधायक जीत जाए तो मजबूर सरकार बनेगी, 15 साल में विकास नहीं, बेहाल से लोग छत्तीसगढ़ में परेशान हैं.
छत्तीसगढ़ बसपा प्रभारी राज्यसभा सांसद अशोक सिद्धार्थ का कहना है कि छत्तीसगढ़ में सीटों की स्थिति का आकलन कर पूरी रिपोर्ट मायावती को देंगे. उसके बाद ही वह किसी गठबंधन पर विचार मायावती ही करेंगी. कांग्रेस के साथ या अजीत जोगी की पार्टी के साथ गठबंधन का फैसला मायावती ही करेंगी.
उन्होंने कहा, “वैसे, बसपा सभी 90 सीटों पर प्रत्याशी उतारने की तैयारी कर रही है. बसपा का वोटर कहीं नहीं जाता, वो बसपा को ही वोट देगा. अजीत जोगी की नई पार्टी से हमारे वोटबैंक पर कोई फर्क नहीं पड़ेगा. कांग्रेस कितनी सीट हमें देना चाहती है ये भी मायने नहीं रखता. बगैर बसपा के, राह मुश्किल है. कर्नाटक में क्या हुआ सबको पता है.”
सिद्धार्थ ने विपक्ष के गठबंधन को अपवित्र कहने वाली भाजपा पर तंज कसते हुए कहा कि वह पहले अपने गिरेबान पर झांककर देख ले.
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