नई दिल्ली। संजय लीला भंसाली की फिल्म पद्मावती को लेकर चल रहे विवाद के बीच समाजवादी पार्टी के नेता आजम खान ने विवादित बयान दिया है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, आजम ने रामपुर में चुनावी सभा के दौरान ‘पद्मावती’ विवाद पर तंज कसते हुए कहा कि यह कैसी राजगिरी है, एक फिल्म में डांस करने वाली ‘नचनिया’ से डर गए. बड़ी-बड़ी पगड़ियां लगाकर फिल्मों का विरोध कर रहे हैं. फिल्मों की मुखालिफत नहीं की जाती है, मजे लिए जाते हैं.
आजम खान ने ये भी कहा कि आज जो लोग इसका विरोध कर रहे हैं जो वो कल तक अंग्रेजों के बस्ते उठाया करते थे. अंग्रेजों के सम्मान में झुककर 40 सलाम करते थे. आजम खान से पहले कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शशि थरूर ने भी इस फिल्म का विरोध करने पर राजपूतों के लिए आपत्तिजनक बात कही थी. थरूर ने कहा था कि ब्रिटिशों ने जब मान सम्मान रौंदा था तो भाग खड़े हुए थे ये महाराजा.
आजम खान ने कहा कि मुसलमानों का दिल बड़ा था इसलिए हमने मुगलेआजम का विरोध नहीं किया था. इस फिल्म में अनारकली को सलीम की महबूबा बताया गया था. सच्चाई तो यह है कि ऐसी कोई कहानी नहीं है. इतिहास से इसका कोई लेना देना नहीं, कोई वास्ता नहीं. सुनते हैं, अनारकली नाम की कोई तवायफ लाहौर में रहा करती थी. फिल्म में बाप-बेटे का मुकाबला दिखाया गया था. किसी मुसलमान ने कोई विरोध नहीं किया, क्योंकि यह कहानी थी.
गौरतलब है कि पद्मावती को लेकर राजपूत और कुछ हिंदू संगठनों में भारी गुस्सा है. फिल्म का विरोध कर रहे इन लोगों का कहना है कि इस फिल्म में संजय लीला भंसाली ने राजपूतों के इतिहास के साथ छेड़छाड़ की है. फिल्म पर चल रहे विवाद को देखते हुए इसकी निर्माता कंपनी ने रिलीज़ डेट भी आगे बढ़ा दी है. पहले ये फिल्म 1 दिसंबर को रिलीज़ होनी थी लेकिन अब ये कब पर्दे पर दिखेगी इस बारे में कोई तारीख तय नहीं की गई है.
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