जिग्नेश मेवानी विधानसभा से एक दिन के लिए निलंबित, जानिए क्या है मामला

गुजरात में एक आरटीआई कार्यकर्ता की हत्या के मामले में निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवानी ने न्याय के लिए आवाज उठाई है। जिग्नेश मेवानी ने इस मामले में राज्य सरकार एवं जांच एजेंसियों पर निष्क्रियता का आरोप लगाया है। इस आरोप से परेशान गुजरात विधानसभा ने जिग्नेश मेवानी को शुक्रवार 19 मार्च को 1 दिन के लिए विधानसभा से निलंबित कर दिया है। इसे एक अनुशासनात्मक कार्यवाही माना जा रहा है जो कि जिग्नेश मेवानी द्वारा विधानसभा में कथित तौर पर शक्तियां दिखाने के जवाब में की गई है।

इस प्रदर्शन से नाराज होकर विधानसभा स्पीकर ने मेवानी को एक बार फिर से बैठने को कहा, और उन्हें धमकी भी दी कि वे उन्हें विधानसभा से बेदखल कर देंगे। अंत में विधानसभा अध्यक्ष की तरफ से उचित प्रतिक्रिया नहीं मिलने पर मेवानी ने विधानसभा में अपना प्रदर्शन और नारेबाजी जारी रखी। इसके बाद विधानसभा अध्यक्ष ने सार्जेंट भेजकर मेवानी को सदन से बलपूर्वक हटवाया और उन्हें एक दिन के लिए विधानसभा से निलंबित कर दिया।

गौरतलब है कि दलित आरटीआई कार्यकर्ता अमराभाई बोरिचा की दो मार्च को हुई हत्या के बाद हत्या के आरोपी इंस्पेक्टर पीआर सोलंकी की गिरफ्तारी लंबे समय से नहीं हुई है। गुजरात विधानसभा में चल रहे बजट सत्र के दौरान प्रश्नकाल समाप्त होने के ठीक पहले जिग्नेश मेवानी ने यह मुद्दा उठाया। मेवानी ने विधानसभा में गृहमंत्री प्रदीप सिंह जडेजा और गुजरात के मुख्यमंत्री विजय रुपाणी से  सीधा सवाल पूछे। सभा अध्यक्ष राजेंद्र त्रिवेदी ने उन्हें अपने स्थान पर बैठने को कहा। इसके बाद मेवानी ने नारेबाजी करना शुरू कर दी और न्याय की मांग करते हुए विधानसभा में तख्तियां दिखाई। मेवानी वडगांव विधानसभा क्षेत्र के निर्दलिय विधायक हैं।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

This site uses Akismet to reduce spam. Learn how your comment data is processed.