सीसीटीवी से नहीं, शिक्षा व्यवस्था की खोखली जड़ में खाद डालने से होगा सुधार

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CCTV कैमरे लगवा दिए गए, नकलबाजी पर लगाम लगा दी गयी. हजारों-लाखों छात्रों ने पेपर बीच में छोड़ दिये, नकलबाजों ने डर कर परीक्षा छोड़ दी यह कहकर सरकार ने खूब अपनी पीठ थपथपाई… चलो नकल रोकने के लिए आपकी तारीफ की जानी चाहिए.

पर इस राज्य शिक्षा का नासूर सा घाव कब ठीक करोगे, उत्तर प्रदेश के सरकारी स्कूलों की हालत यह है कि अध्यापक खुद खराब अंग्रेजी, गणित, विज्ञान जैसे विषयों की कमजोरी से जूझ रहे हैं और जानकार अध्यापक पढ़ाने में मानसिक दिक्कत समझते हैं ये न जाने क्यों है कभी पता नहीं लगा !

सरकारी स्कूलों में आज भी उपस्थिति को लेकर कोई खास नियम नहीं, और छुट्टियां तो इतनी मिलती हैं जिनका कोई ठिकाना नहीं.
न जाने कितने स्कूलों में बच्चे पहले- दूसरे घण्टे के बाद गायब हो जाते हैं जिसकी अध्यापक को आदत सी हो गयी है जिस पर कोई ध्यान नहीं दिया जाता.

किसी को उत्तर प्रदेश राज्य बोर्ड की शिक्षा का स्तर नापना है तो 2 दिन की क्लास जॉइन करके देखिएगा की वहाँ भविष्य के लिए किस तरह खच्चर तैयार किये जा रहे हैं.

किसी भी छात्र की शिक्षा, अगर उसके पास 11th में विज्ञान, गणित है तो 4 ट्यूशन के बिना अधूरी है. कम से कम तीन ट्यूशन तो लगाने ही लगाने हैं गणित, भौतिक, रसायन… इसमें भी अगर अंग्रेजी विषय खुद से कर पाया तो ठीक बाकी इनमें कहीं भी चूक कर दी तो फेल होना पक्का है.

कभी कोई अध्यापक आने वाले रेगुलर फार्म्स, तरह-तरह की सरकारी नौकरियां, फ़ैशन डिजाइनिंग, ग्राफिक डिजाइनिंग जैसे Creative कोर्स के बारे में बताकर कोई अपना दिमाग खर्च नहीं करना चाहता, कोई भविष्य का मोटिवेशन ज्ञान न के बराबर.

कुछ इस तरह का अनुभव मेरा है बाकी वर्तमान स्कूली छात्र तो इस शिक्षा व्यवस्था को लेकर सर पकड़ लेते हैं.

हर तकनीकी पढ़ाई में अंग्रेजी.. दिल्ली विश्वविद्यालय का हर कोर्स अंग्रेजी में.. भारत की टॉप की यूनिवर्सिटी का हर कोर्स अंग्रेजी में.. IIT, IIM, PMT, B-Tech, B.SC Polytechnic सारे कोर्स अंग्रेजी में और उत्तर प्रदेश राज्य बोर्ड के स्कूलों की अंग्रेजी गड्ढे में.

तो बताएं कैसे बच्चा शिक्षित बनें? कैसे वो रोजगार के लायक हो, कैसे वह सरकारी नौकरी ले, कैसे वह प्रोफेशनल कोर्स सम्भालें और क्यों न वह बेरोजगार बने.

CCTV लगाकर वाहवाही लूटना आसान है पर जमीनी हकीकत खुलती है तो पाँव के नीचे से जमीन सरक जाती है और सच यही है जो साफ साफ लिखा है.

अरे करो ठीक सीसीटीवी लगाकर ही, फुटेज क्लास के पढ़ाते अध्यापकों की भी तो चेक करो, शिक्षा के स्तर पर भी तो सीसीटीवी लगाओ.

सीसीटीवी पुलिस थाने, तहसील, कोर्ट, हर सरकारी विभाग में भी तो लगवाओ जहाँ से भ्रष्टाचार का जन्म होता है जब कर रहे तो सबके साथ समान व्यवहार करो, दोगला रवैया क्यों और कब तक ?

–Ankur sethi

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