भारत में सार्वजनिक जीवन एवं शासन प्रशासन में बाबा साहब आंबेडकर द्वारा स्थापित मूल्यों और दलित हित की राजनीति का एक नया उदाहरण सामने आया है। तेलंगाना की के. चंद्रशेखर राव सरकार द्वारा दलित बहुजन समाज के सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया गया है। तेलंगाना सरकार ने वर्ष 2021-22 का बजट पेश करने के दौरान राज्य में दलितों के लिए 1000 करोड़ रुपये की नई योजना की घोषणा की है।
तेलंगाना के वित्त मंत्री टी हरीश राव ने बजट पेश करने के दौरान यह घोषणा करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने राज्य में अनुसूचित जातियों के सर्वांगीण विकास के लिए नई रणनीति बनाई है। उन्होंने कहा, ‘भारतीय संविधान के निर्माता डॉ बी. आर आंबेडकर ने कहा था कि जो अपने लक्ष्यों के प्रति प्रतिबद्ध हैं, वे ही समाज को प्रगति की ओर ले जा सकेंगे’। राव ने आग कहा कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री दलितों के लिए योजना बनाते हुए बाबा साहब आंबेडकर के इन्ही मूल्यों पर चलने का प्रयास कर रहे हैं।
दक्षिण भारत की राजनीति में इस प्रकार के प्रयोग कोई नई बात नहीं हैं। सत्तर-अस्सी के दशक में पेरियार की राजनीतिक विचारधारा ने भारत के बहुजन समाज को एकजुट करके नई द्रविड़-बहुजन राजनीति की नींव रखी थी। तेलंगाना सरकार द्वारा दलितों के हित में नई योजना लाने की यह घटना भारत के बहुजनों और लोकतंत्र के लिए एक अच्छी खबर मानी जा रही है।

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