शशिकला के ‘स्पेशल ट्रीटमेंट’ का खुलासा करने वाली डीआईजी का ट्रांसफर

बेंगलुरू। भारत में ईमानदार अधिकारियों को अपने काम का फल कुछ इस तरह से ही मिलता है. सिद्धारमैया के नेतृत्व वाली कर्नाटक सरकार ने बेंगलुरू के केंद्रीय कारागार में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार और भारी अनियमितताओं का पदार्फाश करने वाली भारतीय पुलिस सेवा की अधिकारी डी रूपा का सोमवार को तबादला कर दिया. असल में इसकी वजह एक दिन पहले ही जेल में शशिकला को मिलने वाले वीआईपी ट्रीटमेंट का खुलासा करना रही.

उन्होंने AIADMK नेता शशिकला को जेल में मिलने वाली गैरकानूनी सुविधाओं को लेकर एक और रिपोर्ट प्रस्तुत की थी जिसमें खुलासा किया गया था कि शशिकला के व्यक्तिगत इस्तेमाल के लिए बैरक के पांच सेल खुले रखे गए थे जहां ताला नहीं लगाया जाता था.

इसके साथ ही रूपा ने कहा, एक पूरा कॉरिडोर शशिकला के लिए रखा गया था, वहां किसी और को जाने की अनुमति नहीं थी. पिछले सप्ताह डीआईजी डी रूपा की रिपोर्ट ने तहलका मचा दिया था. इस रिपोर्ट में उन्होंने कहा, भ्रष्टाचार के आरोप में जेल में बंद शिशिकला को जेल में वीआईपी ट्रीटमेंट मिल रहा है. रिपोर्ट में यह भी कहा गया था कि 2 करोड़ देकर शशिकला ने अपने लिए जेल में अलग से किचन भी बनवाया है.

डी रूपा की रिपोर्ट सामने आने के बाद कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने हाई लेवल इन्क्वायरी के आदेश दिए हैं. वहीं जेल अधीक्षक एचएसएन राव ने इस तरह की किसी भी रिपोर्ट से इनकार किया है. सोमवार को राज्य सरकार ने डी रूपा का ट्रैफिक विंग में ट्रांसफर कर दिया.

बता दें की मुख्यमंत्री का कहना है की यह कार्रवाई रिपोर्ट को लेकर मीडिया तक जाने की वजह से की गयी है. इस रिपोर्ट की वजह से काफी विवाद पैदा हो गया है. इस पर सिद्धरमैया सरकार ने उलटे रूपा से सफाई मांगी है. अपने काम को ईमानदारी से करना डीआईजी डी रुपा को काफी मंहगा पड़ गया.

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